अहलबैत

जो चुप रहेगी ज़बाने खंजर लहू पुकारेगा आसतीं का

पढ़ने का समय: 4 मिनट दूसरी क़ौमों और मिल्लतों की तरह तारीख़े इसलाम भी इक्तेदार पसन्द लोगों के जराएम से भरी पड़ी है। इस किताब के सफ़्हात भी ज़ुल्मों इस्तिबदाद की सिहाई (रोशनाई) से रंगीन किए गए हैं। मुसलमानों में […]

विषय

जनाबे फ़ातेमा ज़हरा (अलैहास्सलाम) और ताग़ूत का इनकार

पढ़ने का समय: 5 मिनट ला इक्राह फ़िद्दीने कद्तबय्यनर्रुश्दो मिनल ग़य्ये फ़मय्यकफ़ुर बित्ताग़ूते व योमिम बिल्लाहे फक़दिस तम्सक बिल उर्वतिल बुस्क़ा लन फ़िसाम लहा वल्लाहो मसीउन अलीम। (सूरए बक़रह, आयत 256) दीन में जब्र नहीं है, यक़ीनन नेकी को गुम्राही […]

विषय

मौला अली (अलैहिस्सलाम) मुक़द्दमए फ़िदक के अहम गवाह

पढ़ने का समय: 3 मिनट “व यकूलुल लज़ीन कफ़रू लस्त मुर्सला कु़ल कफ़ा बिल्लाहे शहीदुम बैनी व बैनकुम व मन इन्दहू इल्मुल किताब” (सूरए राद, आयत 43) काफ़िर कहते है कि आप (सल्लल्लाहु अलैहि व आलिहि व सल्लम) रसूल नहीं […]

अली (अ.स)

इमामे अली नक़ी (अलैहिस्सलाम) के कुछ इल्मी कमालात

पढ़ने का समय: 3 मिनट हज़रत इमाम अली इब्ने मोहम्मद तक़ी (अलैहिमस्सलाम) का इस्मे गिरामी अली था और कुन्नियत अबुलहसन सालिस थी। आपके मशहूर अल्क़ाब में नजीब, मुर्तज़ा, आलिम, फ़क़ीह, नासेह, अमीन, तय्यब, नक़ी और हादी वग़ैरह का तज़्किरा किया […]

अहलेबैत (अ.स.)

सवाल: क्या ग़दीर का शुमार इस्लामी ईदों में होता है या यह ईद सिर्फ़ शीओं से मख़्सूस है?

पढ़ने का समय: 2 मिनट जवाब: यह ईद शीओं से मख़्सूस नहीं है, अगरचे शीआ इस ईद से बहोत ज़्यादा लगाओ रखते हैं, बल्कि मुसलमानों के दूसरे फ़िर्क़े भी इस रोज़ को ईद जानते हैं। अबू रैह़ान बैरूनी ने किताब […]

अहलेबैत (अ.स.)

सक़लैन क्या है?

पढ़ने का समय: 2 मिनट हज़रत रसूले काएनात सल्लल्लाहो अलैहे व आलेही वसल्लम का इरशादे गिरामी है “मैं तुम्हारे दरमियान दो गिराँ क़द्र चीजें छोड़कर जा रहा हूं। अल्लाह की किताब और मेरी इतरत जो कि मेरे अहले बैत (अलैहिमुस्सलाम) […]

मान्यताएं

मुसलामानों के दरमियान पैग़म्बरे इस्लाम (स.अ.) और अमानियत का एहसास

पढ़ने का समय: 6 मिनट सूरए माएदा आयत नं. 67 का यह हिस्सा निहायत ग़ौर तलब और क़ाबिले फ़िक्र है, इसलिए कि रसूले अकरम (स.अ.) अपनी 23 साला तबलीग़ी ज़िन्दगी में रिसालते इलाहिया के पहूँचाने में सख्त़ तरीन औका़त और […]

शख्सियतें

आबिदों की ज़ीनत अली इब्नुल हुसैन (अ.स.)

पढ़ने का समय: 4 मिनट मुख्त़सर तआर्रुफ़ विलादत:  38 हिजरी जमादीऊअव्वल मुक़ामे विलादत – मदीनए मुनव्वरा कुन्नियत – अबु मोहम्मद अलक़ाब – ज़ैनुल आबेदीन, सय्यदुस्साजेदीन, वारिसे इमामुल नबीईन, इमामुल मोमेनीन, आबिद, सज्जाद, वग़ैरह वालिदे गिरामी – हज़रत इमाम ह़ुसैन (अ.स.) […]

अहलेबैत (अ.स.)

उम्मुल मोमेनीन ख़दीजा (स.अ.) से आय़शा का हसद

पढ़ने का समय: 4 मिनट हज़रते ख़दीजा रसूले ख़ुदा (स.अ.) की पहली बीवी होने के साथ साथ इसलाम क़ुबूल करनेवाली पहली खा़तून भी हैं। आँ-हज़रत (स.अ.) कि निगाह में वह एक अज़ीमुश-शान मुक़ाम और बुलन्द मर्तबा रखने वाली खा़तून हैं। […]

अहलेबैत (अ.स.)

उम्मुल मोमेनीन जनाबे खदीजा (स.अ.) मोमीनों की हक़ीक़ी माँ

पढ़ने का समय: 3 मिनट क़ुरआने करीम ने अज़वाजे नबी को मोमेनीन की माँ होने का रुतबा और दर्जा दिया है। ह़क़ीक़ी मानो में इस लक़ब की सब से ज़्यादा मुसतहक़ रसूलुल्लाह (स.अ.) की पहली बीबी जनाबे ख़दीजतुल कुबरा (स.अ.) […]