शख्सियतें

मुन्तक़िमे खूने ज़हराः इमाम मेहदी (अ.स.)

पढ़ने का समय: 3 मिनट‘पस हमने जुर्म करने वालों से इंतेक़ाम लिया। मोमिनों का हम पर हक़ है के हम उनकी मदद करें।’ (कु़रआन मजीद) इमाम मेहदी की एक अहम खु़सूसियत ये है कि आप (अ.स.) अल्लाह की ज़मीन […]

बहस-मुबाहिसा

इमामे जाफ़रे सादिक़ (अलैहिस्सलाम) के एक शागिर्द का इमामे अबू हनीफ़ा से मुनाज़ेरा

पढ़ने का समय: 3 मिनटएक दिन इमाम जाफरे सादिक़ (अलैहिस्सलाम) का एक शागिर्द फज़्ज़ाल इब्ने हसन कूफ़ी और उसके एक दोस्त का अबू हनीफ़ा से सामना हुआ कि उस वक़्त अबू हनीफ़ा से इल्मे फ़िक्ह और इल्मे हदीस पढ़ने […]

अली (अ.स)

दरबारे ख़िलाफ़त में हज़रत अली (अलैहिस्सलाम) का शानदार मुकालिमा

पढ़ने का समय: 2 मिनटहज़रते सरवरे कायनात ने हुक्मे ख़ुदा और क़ुरआन की आयत – ‘फ़आते ज़ल क़ुरबा हक़्क़हू’ पर अमल करते हुए बाग़े फ़िदक अपनी नूरे नज़र फ़ातेमा ज़ेहरा (अलैहास्सलाम) को दे दिया था। इस बाग़ की देखरेख […]

मान्यताएं

क़ुरआन में अम्बिया की मीरास

पढ़ने का समय: 3 मिनटइस में कोई अचम्भे की बात नहीं है कि बच्चों को उनके मरहूम माँ बाप की मीरास मिलती है। यह हर समाज, हर ज़माने में और मज़हब में पाया जाने वाला क़ानून है यह उसूल […]

अन्य लोग

फिदक की कहानी आएशा की ज़बानी

पढ़ने का समय: 2 मिनटरसूल (स.अ.) की रेहलत के बाद जो वाकेआत रूनुमा हुए उनमें से अहम मुकद्दमए फिदक था। बल्कि यह वाकेआ हिदायत हासिल करने और उनके लिए एक मश्अले राह है। इस मुकद्दमे में जो दो अहम […]

अहलेबैत (अ.स.)

बाग़े-फिदक कयों ग़स्ब किया गया?

पढ़ने का समय: 2 मिनटरसूलल्लाह (स.अ.) ने सन 7 हिजरी में बाग़े-फिदक ब- हुक्मे खु़दा अपनी पारए-जिगर, फातिमा ज़हेरा (स.अ.) को हिबा किया और तब से यह बाग खातूने-महेशर की मिलकियत में रहा। जब रसूलल्लाह (स.अ.) की वफात हुई […]

अहलेबैत (अ.स.)

आस़ारे फ़ातेमी: मुस्ह़फे फातेमा (स.अ.)

पढ़ने का समय: 3 मिनटइन्न हाज़ा लफीस सोहुफिल ऊला, सोहुफे इब्राहीम व मूसा (सूरए आअला 18-19) यक़ीनन यह गुजिशता सहीफों में भी मरक़ूम है। इब्राहीम (अ.स.) और मूसा (अ.स.) के सह़ीफों में (मौजूद है)। खुदावन्दे आलम ने इन्सानो की […]